16 उसके दाएँ हाथ में सात तारे थे+ और उसके मुँह से एक लंबी और दोनों तरफ तेज़ धारवाली तलवार निकल रही थी।+ उसका चेहरा ऐसे चमक रहा था जैसे सूरज कड़ी धूप में चमकता है।+
15 और उस घुड़सवार के मुँह से एक तेज़ धारवाली लंबी तलवार निकलती है+ ताकि वह उससे राष्ट्रों पर वार करे। और वह चरवाहे की तरह उन्हें लोहे के छड़ से हाँकेगा।+ यही नहीं, वह सर्वशक्तिमान परमेश्वर के क्रोध और जलजलाहट के हौद में भी रौंदता है।+