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  • यशायाह 6:9, 10
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    •  9 तब परमेश्‍वर ने कहा,

      “जा! और उन लोगों से कह,

      ‘तुम बार-बार सुनोगे, फिर भी न समझोगे,

      बार-बार देखोगे, फिर भी न सीखोगे।’+

      10 उन लोगों का मन सुन्‍न कर दे,+

      उनके कान बहरे कर दे,+

      उनकी आँखें बंद कर दे

      कि आँखें होते हुए भी वे देख न सकें,

      कान होते हुए भी सुन न सकें,

      उनका मन बातों को समझ न सके

      और वे पलटकर लौट न आएँ और चंगे हो जाएँ।”+

  • मरकुस 4:12
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 12 ताकि वे देखते हुए भी न देख सकें और सुनकर भी इसके मायने न समझ सकें। वे कभी पलटकर नहीं आएँगे और माफी नहीं पाएँगे।”+

  • प्रेषितों 28:26, 27
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 26 ‘जाकर इन लोगों से कह, “तुम लोग सुनोगे मगर सुनते हुए भी बिलकुल नहीं समझोगे। और देखोगे मगर देखते हुए भी बिलकुल नहीं देख पाओगे।+ 27 क्योंकि इन लोगों का मन सुन्‍न हो चुका है। वे अपने कानों से सुनते तो हैं, मगर कुछ करते नहीं। उन्होंने अपनी आँखें मूँद ली हैं ताकि न वे कभी अपनी आँखों से देखें, न अपने कानों से सुनें और न कभी उनका मन इसे समझे और न वे पलटकर लौट आएँ और मैं उन्हें चंगा करूँ।”’+

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