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  • मत्ती 12:24-30
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 24 यह सुनकर फरीसियों ने कहा, “यह आदमी दुष्ट स्वर्गदूतों के राजा बाल-ज़बूल* की मदद से ही लोगों में समाए दुष्ट स्वर्गदूत निकालता है।”+ 25 यीशु जानता था कि वे क्या सोच रहे हैं इसलिए उसने उनसे कहा, “जिस राज में फूट पड़ जाए, वह बरबाद हो जाएगा और जिस शहर या घर में फूट पड़ जाए वह नहीं टिकेगा। 26 उसी तरह, अगर शैतान ही शैतान को निकाले, तो उसमें फूट पड़ गयी है और वह खुद अपने खिलाफ हो गया है। तो फिर उसका राज कैसे टिकेगा? 27 और फिर, अगर मैं बाल-ज़बूल की मदद से दुष्ट स्वर्गदूतों को निकालता हूँ, तो तुम्हारे बेटे किसकी मदद से इन्हें निकालते हैं? इसलिए वे ही तुम्हारे न्यायी ठहरेंगे। 28 लेकिन अगर मैं परमेश्‍वर की पवित्र शक्‍ति से दुष्ट स्वर्गदूतों को निकालता हूँ, तो इसका मतलब परमेश्‍वर का राज तुम्हारे हाथ से निकल चुका है।+ 29 या क्या कोई किसी ताकतवर आदमी के घर में घुसकर उसका सामान तब तक लूट सकता है जब तक कि वह पहले उस आदमी को पकड़कर बाँध न दे? उसे बाँधने के बाद ही वह उसका घर लूट सकेगा। 30 जो मेरी तरफ नहीं है, वह मेरे खिलाफ है और जो मेरे साथ नहीं बटोरता, वह तितर-बितर कर देता है।+

  • मरकुस 3:22-27
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 22 जो शास्त्री यरूशलेम से आए थे वे कह रहे थे, “इसमें बाल-ज़बूल* समाया है। यह दुष्ट स्वर्गदूतों के राजा की मदद से, लोगों में समाए दुष्ट स्वर्गदूत निकालता है।”+ 23 तब यीशु ने उन्हें अपने पास बुलाया और मिसालें देकर कहा, “शैतान खुद शैतान को कैसे निकाल सकता है? 24 अगर किसी राज में फूट पड़ जाए, तो वह राज टिक नहीं सकता।+ 25 और अगर किसी घर में फूट पड़ जाए तो वह घर टिक नहीं सकता। 26 उसी तरह, अगर शैतान अपने ही खिलाफ उठ खड़ा हो और उसमें फूट पड़ जाए, तो वह टिक नहीं सकेगा बल्कि उसका अंत हो जाएगा। 27 सच तो यह है कि कोई किसी ताकतवर आदमी के घर में घुसकर उसका सामान तब तक नहीं चुरा सकता जब तक कि वह पहले उस आदमी को पकड़कर बाँध न दे। इसके बाद ही वह उसका घर लूट सकेगा।

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