27 सच है कि उन्हें देने में खुशी मिली और देखा जाए तो वे पवित्र जनों के कर्ज़दार थे। क्योंकि पवित्र जनों ने परमेश्वर से जो पाया था वह गैर-यहूदी राष्ट्रों को भी दिया, इसलिए इनका भी फर्ज़ बनता है कि वे पवित्र जनों की खाने-पहनने की ज़रूरतों के लिए दान देकर उनकी सेवा करें।+