राज्य उद्घोषक रिपोर्ट देते हैं
आध्यात्मिक रीति से भूखों को तृप्त करना—स्कूल में
“ख़ुश हैं वे जो अपनी आध्यात्मिक ज़रूरत के प्रति सचेत हैं,” यीशु ने अपने पहाड़ी उपदेश में कहा। (मत्ती ५:३, NW) बहुत से स्कूल जानेवाले बच्चे परमेश्वर और उसके शानदार उद्देश्यों के ज्ञान के प्यासे हैं। वे जीवन के बारे में प्रश्नों के उत्तर चाहते हैं और जानना चाहते हैं कि परमेश्वर की स्वीकृति प्राप्त करने और ख़ुश रहने के लिए उन्हें कैसे जीना चाहिए। ब्रिटिश वर्जिन आइलेंडस् के एक स्कूल में यह बात स्पष्ट थी। वहाँ का एक यहोवा का गवाह बताता है:
▫ “मैं स्थानीय स्कूल में माता-पिता और अध्यापक की एक मीटिंग में उपस्थित हुआ, और नशीले पदार्थों, शराब पीने, डेटिंग, टेलिविजन देखने, परीक्षा परिणामों, और अन्य विषयों पर काफ़ी कुछ कहा गया। इसलिए मैंने क्वेस्चनस् यंग पीपल आस्क—आंसर्स् दैट वर्क पुस्तक ले जाकर प्रधानाध्यापिका को पेश करने का निर्णय किया। पुस्तक को जाँचने के बाद उसने कहा कि यह तो ठीक वैसी ही पुस्तक है जिसकी उन्हें ज़रूरत थी और पूछा कि क्या स्कूल अपने १२० विद्यार्थियों में से प्रत्येक के लिए एक प्रति प्राप्त कर सकता है। कलीसिया के प्राचीनों के साथ इस मामले पर चर्चा की गई, और उन्होंने ये पुस्तकें स्कूल को दान करने का निर्णय लिया। जब हमने इस बात का ज़िक्र किया, अध्यापकों ने कहा कि स्वयं हम ये पुस्तकें विद्यार्थियों को दें। दो यहोवा के गवाह गए, और कमरा विद्यार्थियों से भरा हुआ था जो उन की प्रतीक्षा कर रहे थे। भाइयों ने आधे घंटे के लिए बात की, और यह दिखाने के लिए कि इस पुस्तक ने कैसे युवाओं की और वृद्ध लोगों की मदद की है, वॉचटावर सोसाइटी की पत्रिकाओं से अनुभव पढ़े गए। फिर उन उत्सुक विद्यार्थियों को ये पुस्तकें दी गईं।”
यह जानकर हम आनन्दित हैं कि स्कूल ने इस पुस्तक को नियमित चौथी- और पांचवीं-कक्षा के पाठ्यक्रम का एक भाग बनाने का निर्णय किया है। यह सच में जीवन और भविष्य के बारे में इन विद्यार्थियों के अनेक प्रश्नों के उत्तर देगी।
आध्यात्मिक रीति से भूखों को तृप्त करना —पापुआ न्यू गिनी में
निम्नलिखित अनुभव एक सफ़री ओवरसियर से प्राप्त हुआ। यह दिखाता है कि उस देश में लोग आध्यात्मिक रीति से कितने भूखे हैं और उनकी भूख को मिटाने में हमारे बाइबल-आधारित प्रकाशन कितने प्रभावकारी हैं।
▫ “क्योंकि मैं कामबेरेटॉरो गाँव जाने में असमर्थ था,” ओवरसियर ने कहा, “मैंने वानीमो की छोटी कलीसिया के साथ कार्य करने में अपना समय बिताया। वहाँ काफ़ी दिलचस्पी है। बीवानी से आए काफ़ी लोगों ने साहित्य स्वीकार किया। एक व्यक्ति ने मुझे इस गाँव आने को कहा, और वह मेरे लिए रहने का प्रबन्ध करेगा। बहुत से लोग हमारे साहित्य से परिचित हैं। जितनी बार हम वानीमो के शहर गए हैं, तीन बक्से पुस्तकें ले जाने के बावजूद भी हमारा साहित्य समाप्त हो जाता है। माइ बुक ऑफ़ बाइबल स्टोरीज़ पुस्तक को सोने जितना मूल्यवान समझा जाता है। लोग इसे ढूँढ़ रहे हैं। जितनी पुस्तकें मैं ले गया था, वे बहुत ही जल्द ख़रीद ली गईं। जब हम लोगों को अपना साहित्य दिखाते हैं, तो कुछ पूछते हैं: ‘पीली पुस्तक कहाँ है?’ एक आदमी ने छः प्रतियाँ मँगवाईं। उसने मुझे अपना नाम और पता दिया और कहा कि जब मुझे वे पुस्तकें मिल जाएँ तब रेडियो पर घोषणा करवा दूँ। तब वह अपने गाँव से आकर उन्हें ले जाएगा।” सफ़री ओवरसियर आगे कहता है: “मैंने पाया कि वानीमो में काफ़ी लोगों ने मैनकाइंडस् सर्च फ़ॉर गॉड और क्वेस्चनस् यंग पीपल आस्क—आंसर्स् दैट वर्क पुस्तकें स्वीकार कीं।”
यह दिखाता है कि निष्कपट लोग उस आध्यात्मिक भोजन के लिए कितने भूखे हैं जो बाइबल में और “विश्वासयोग्य और बुद्धिमान दास” के ज़रिये यहोवा के प्रदान किए प्रकाशनों में पाया जाता है। (मत्ती २४:४५-४७) सच्चाई के भूखे इन लोगों को मदद कर सकने में यहोवा के गवाह कितने ख़ुश हैं!
[पेज 29 पर तसवीरें]
पापुआ न्यू गिनी में गवाही कार्य करना