8 और उनके लिए वह “ठोकर खिलानेवाला पत्थर और ठेस पहुँचानेवाली चट्टान” बन गया है।+ वे इसलिए ठोकर खाते हैं क्योंकि वे वचन की आज्ञा नहीं मानते। उनका अंत इसी तरह होना है।
8 और उनके लिए वह “ठोकर खिलानेवाला पत्थर और ठेस पहुँचानेवाली चट्टान” बन गया है।+ वे इसलिए ठोकर खाते हैं क्योंकि वे वचन की आज्ञा नहीं मानते। उनका अंत इसी तरह होना है।