8 कुछ गादी लोग दाविद की तरफ हो गए और वे उसके पास वीराने में महफूज़ जगह आए।+ वे वीर योद्धा थे जिन्होंने युद्ध की तालीम पायी थी। वे हाथ में बड़ी ढाल और बरछा लिए हमेशा तैयार रहते थे। उनका मुँह शेर के मुँह जैसा था और वे पहाड़ी चिकारे की तरह फुर्ती से दौड़ते थे।