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‘मैं उन सबसे एक राष्ट्र बनाऊँगा’सारी धरती पर यहोवा की शुद्ध उपासना बहाल!
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4. यहेजकेल ने जो अभिनय किया, वह क्या दर्शाता है? (शुरूआती तसवीर देखें।)
4 फिर यहोवा ने यहेजकेल से कहा कि वह दोनों छड़ियों को एक-दूसरे के पास लाए ताकि वे दोनों “एक छड़ी बन जाएँ।” यहूदी यहेजकेल का यह अभिनय देखकर बेचैन हो जाते हैं कि आखिर इसका क्या मतलब हो सकता है। वे उससे कहते हैं, “क्या तू हमें नहीं बताएगा कि इन सब बातों का क्या मतलब है?” यहेजकेल बताता है कि यह अभिनय एक ऐसे काम को दर्शाता है जो यहोवा खुद करेगा। यहोवा ने उन दो छड़ियों के बारे में कहा, ‘मैं दोनों को एक छड़ी बनाऊँगा और वे मेरे हाथ में एक छड़ी बन जाएँगे।’—यहे. 37:17-19.
5. यहोवा ने यहेजकेल के अभिनय का क्या मतलब समझाया? (यह बक्स देखें: “दो छड़ियों को जोड़ दिया गया।”)
5 इसके बाद यहोवा उन दो छड़ियों को एक करने का मतलब समझाता है। (यहेजकेल 37:21, 22 पढ़िए।) वह बताता है कि दो गोत्रोंवाले यहूदा राज्य के लोगों को और दस गोत्रोंवाले इसराएल (या एप्रैम) राज्य के लोगों को बँधुआई से इसराएल वापस लाया जाएगा। वहाँ वे मिलकर “एक राष्ट्र” बन जाएँगे।—यिर्म. 30:1-3; 31:2-9; 33:7.
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दो छड़ियों को जोड़ दिया गयासारी धरती पर यहोवा की शुद्ध उपासना बहाल!
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“वे दोनों तेरे हाथ में जुड़कर एक छड़ी बन जाएँ”
पुराने ज़माने में
ई.पू. 537 सच्चे उपासक कई राष्ट्रों से अपने देश लौटे, उन्होंने यरूशलेम को दोबारा बनाया और एक राष्ट्र के नाते यहोवा की उपासना की।
हमारे ज़माने में
1919 से परमेश्वर के लोगों को फिर से व्यवस्थित किया गया और वे “एक झुंड” बनकर सेवा करने लगे।
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