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यूनान पाँचवी महान् विश्व शक्तिप्रहरीदुर्ग—1989 | नवंबर 1
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“और जब वह बड़ा होगा, तब उसका राज्य टूटेगा और चारों दिशाओं में बटकर अलग अलग हो जाएगा; और न तो उसके राज्य की शक्ति ज्यों की त्यों रहेगी और न उसके वंश को कुछ मिलेगा; क्योंकि उसका राज्य उखड़कर, उनकी अपेक्षा और लोगों को प्राप्त होगा।”—दानिय्येल ११:४.
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यूनान पाँचवी महान् विश्व शक्तिप्रहरीदुर्ग—1989 | नवंबर 1
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भविष्यवाणी में कहा गया कि उसका राज्य बट जाता “और न उसके वंश को कुछ” मिलता। सिकंदर के अयोग्य भाई फिलिप ॲरहीडेईस ने थोड़े समय के लिए राज्य किया लेकिन उसे वध किया गया। और सिकंदर का जायज़ बेटा सिकंदर (ॲल्लू) और उसका नाजायज़ बेटा हेराक्लीज़ (हरक्यूलीज़) भी मारे गए। इस तरह बड़े सिकंदर, बड़े खून बहानेवाले, की वंशावली लुप्त हो गयी।
यह भी पूर्वबतलाया गया कि “उस जाति से चार राज्य उदय होंगे, परन्तु उनका बल उस पहले को सा न होगा” और कि उसका राज्य “चारों दिशाओं में बटकर अलग अलग हो जाएगा; और न उसके राज्य की शक्ति ज्यों की त्यों रहेगी।” क्या ऐसा हुआ?
समय में, सिकंदर का विशाल साम्राज्य उसके चार सेनापतियों के बीच विभाजित किया गया: (१) जेनरल कॅस्सॅन्डर—मकिदुनिया और यूनान। (२) जेनरल लाइसिमॅकस—एशिया माइनर और यूरोपी थ्रेस। (३) जेनरल सेलूकस निकेटर—बाबेलोनिया, मीडिया, सिरिया, फ़ारस और इंडस नदी तकगके पूर्वी प्रान्त। (४) जेनरल टॉलेमी लागस—मिस्र, लिब्या, और पलश्तीन। जैसे भविष्यद्वाणी दी गयी, सिकंदर के एक बड़े राज्य से चार हेल्लेनी या यूनानी राज्य उदय हुए।a
इन में से सबसे ज़्यादा टिकनेवाला राज्य मिस्र में टॉलेमी का राज्य था। सा.यु.पू. ३० में यह रोम के सामने पराजित हो गया, जिसके पश्चात् रोम ने यूनान की जगह ली और महान् विश्व शक्तियों की छठीं शक्ति बन गया।
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