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“देखो! मैं हमेशा तुम्हारे साथ हूँ”प्रहरीदुर्ग—2013 | जुलाई 15
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16, 17. (क) वह आखिरी घटना क्या है, जिसका ज़िक्र यीशु ने अपनी मिसाल में किया? (ख) हम क्यों कह सकते हैं कि यह आखिरी घटना भविष्य में होगी?
16 पाँचवी घटना है, तेज़ चमकना। यीशु अपनी भविष्यवाणी यह कहकर खत्म करता है: “जो परमेश्वर की नज़र में नेक हैं, वे उस वक्त अपने पिता के राज में सूरज की तरह तेज़ चमकेंगे।” (मत्ती 13:43) ऐसा कब और कहाँ होगा? यीशु के बताए ये शब्द आज धरती पर पूरे नहीं हो रहे हैं, बल्कि ये भविष्य में स्वर्ग में पूरे होंगे। (फुटनोट 6 पढ़िए।f) हम इस नतीजे पर कैसे पहुँचे, यह जानने के लिए आइए दो वजहों पर गौर करें।
17 आइए पहले देखें कि क्यों हम इस नतीजे पर पहुँचे कि ये शब्द भविष्य में पूरे होंगे। यीशु ने कहा था: “जो परमेश्वर की नज़र में नेक हैं, वे उस वक्त चमकेंगे।” ज़ाहिर है शब्द “उस वक्त” उस समय को दर्शाते हैं जिसका ज़िक्र यीशु ने बस इससे पहले की आयत में किया था, जो ‘जंगली पौधों को आग की भट्ठी में झोंक दिए’ जाने की घटना के बारे में थी। और जैसा हम देख चुके हैं, यह घटना महा-संकट के आखिरी भाग में होगी। तो फिर अभिषिक्त जनों का ‘तेज़ चमकना’ भी भविष्य में ही होना चाहिए। अब आइए देखें कि हम क्यों कह सकते हैं कि यह स्वर्ग में होगा। यीशु ने कहा था कि नेक लोग ‘राज में चमकेंगे।’ इसका क्या मतलब है? महा-संकट का पहला भाग पूरा हो जाने के बाद जितने वफादार अभिषिक्त जन धरती पर ज़िंदा होंगे, उन पर आखिरी मुहर लग चुकी होगी। इसके बाद, जैसा यीशु की भविष्यवाणी में बताया गया था, उन्हें स्वर्ग में इकट्ठा किया जाएगा। (मत्ती 24:31) वहाँ वे “अपने पिता के राज में” चमकेंगे। और हर-मगिदोन की लड़ाई के बस कुछ ही समय बाद, वे “मेम्ने की शादी” में खुशियों से भरी यीशु की दुलहन का हिस्सा बनेंगे।—प्रका. 19:6-9.
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“देखो! मैं हमेशा तुम्हारे साथ हूँ”प्रहरीदुर्ग—2013 | जुलाई 15
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f पैराग्राफ 16: [6] दानिय्येल 12:3 कहता है कि “सिखानेवालों [अभिषिक्त मसीहियों] की चमक आकाशमण्डल की सी होगी।” जब तक वे धरती पर हैं, वे प्रचार काम में हिस्सा ले रहे हैं और इस मायने में चमक रहे हैं। लेकिन मत्ती 13:43 में उस समय के बारे में बताया गया है जब वे स्वर्ग में परमेश्वर के राज में चमकेंगे। पहले हमारा मानना था कि ये दोनों आयतें प्रचार काम के बारे में बताती हैं।
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