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हम स्मारक में क्यों आते हैं?प्रहरीदुर्ग (अध्ययन)—2022 | जनवरी
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2 यीशु हमारे लिए बहुत खास है। इसलिए हर साल हम उसकी मौत के दिन उसे याद करते हैं। पूरी दुनिया से लाखों लोग भी इसमें शरीक होते हैं। (1 पत. 1:8) हम यीशु की मौत का स्मारक इसलिए मनाते हैं क्योंकि उसने हमें पाप और मौत से छुड़ाने के लिए अपनी जान फिरौती के तौर पर दे दी। (मत्ती 20:28) यही नहीं, यीशु भी चाहता था कि उसके चेले उसकी मौत का दिन याद रखें। इसलिए अपनी मौत से एक रात पहले उसने एक खास भोज की शुरूआत की और अपने चेलों को आज्ञा दी, “मेरी याद में ऐसा ही किया करना।”b—लूका 22:19.
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हम स्मारक में क्यों आते हैं?प्रहरीदुर्ग (अध्ययन)—2022 | जनवरी
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b बाइबल के दूसरे अनुवादों में इन शब्दों को इस तरह लिखा गया है, “मेरे स्मरण के लिए यही किया करो” (हिंदी—ओ.वी.) और “यह मेरी स्मृति में किया करो” (वाल्द-बुल्के अनुवाद )।
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