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  • यशायाह 56:6, 7
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    •  6 और जो परदेसी यहोवा की सेवा करने के लिए,

      यहोवा के नाम से प्यार करने के लिए+

      और उसके सेवक बनने के लिए आगे आते हैं,

      जो सब्त मनाते हैं और उसे अपवित्र नहीं करते,

      जो मेरा करार थामे रहते हैं,

       7 उन्हें भी मैं अपने पवित्र पर्वत पर लाऊँगा,+

      अपने प्रार्थना के घर में खुशियाँ दूँगा,

      उनकी होम-बलियाँ और बलिदान अपनी वेदी पर कबूल करूँगा।

      मेरा घर देश-देश के सब लोगों के लिए प्रार्थना का घर कहलाएगा।”+

  • यशायाह 60:3
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    •  3 राष्ट्रों के लोग तेरी रौशनी की तरफ आएँगे+

      और राजा+ तेरे ऐश्‍वर्य और वैभव* की ओर।+

  • जकरयाह 8:22, 23
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 22 तब कई देशों के लोग और बड़े-बड़े राष्ट्र, सेनाओं के परमेश्‍वर यहोवा की खोज करने यरूशलेम आएँगे+ और यहोवा से दया की भीख माँगेंगे।’

      23 सेनाओं का परमेश्‍वर यहोवा कहता है, ‘उन दिनों अलग-अलग भाषा बोलनेवाले सब राष्ट्रों में से दस लोग,+ एक यहूदी* के कपड़े का छोर पकड़ लेंगे। हाँ, वे उसका छोर पकड़कर कहेंगे, “हम तुम्हारे साथ चलना चाहते हैं+ क्योंकि हमने सुना है, परमेश्‍वर तुम लोगों के साथ है।”’”+

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