“हे दानियेल, तू जो परमेश्वर के लिए बहुत अनमोल है,*+ मैं तुझे जो बताने जा रहा हूँ उस पर ध्यान दे। तू जहाँ खड़ा था वहाँ खड़ा हो जा क्योंकि मुझे तेरे पास भेजा गया है।”
19 उसने मुझसे कहा, “हे दानियेल, तू जो परमेश्वर के लिए बहुत अनमोल है,*+ मत डर।+ तेरा भला हो।+ हिम्मत रख, हाँ, हिम्मत रख।” जब उसने ऐसा कहा तो मुझे हिम्मत मिली और मैंने कहा, “मेरे मालिक, अब तू बोल क्योंकि तूने मेरी हिम्मत बँधायी है।”