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  • मत्ती 12:9-14
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 9 वहाँ से वह उनके सभा-घर में गया। 10 और देखो! वहाँ एक आदमी था जिसका एक हाथ सूखा हुआ था।*+ तब कुछ लोगों ने यीशु से पूछा, “क्या सब्त के दिन बीमारों को ठीक करना सही है?” ताकि उन्हें उस पर इलज़ाम लगाने की कोई वजह मिल सके।+ 11 उसने कहा, “तुममें ऐसा कौन है जिसके पास एक ही भेड़ हो और अगर वह भेड़ सब्त के दिन गड्‌ढे में गिर जाए, तो वह उसे पकड़कर बाहर न निकाले?+ 12 तो सोचो एक इंसान का मोल भेड़ से कितना ज़्यादा है! इसलिए सब्त के दिन भला काम करना सही है।” 13 फिर उसने उस आदमी से कहा, “अपना हाथ आगे बढ़ा।” जब उसने हाथ आगे बढ़ाया तो उसका हाथ दूसरे हाथ की तरह ठीक हो गया। 14 मगर फरीसी बाहर निकल गए और यीशु को मार डालने की साज़िश करने लगे।

  • मरकुस 3:1-6
    पवित्र शास्त्र का नयी दुनिया अनुवाद
    • 3 एक बार फिर वह सभा-घर में गया। वहाँ एक ऐसा आदमी था जिसका एक हाथ सूखा हुआ था।*+ 2 फरीसी यीशु पर नज़र जमाए हुए थे कि देखें, वह उस आदमी को सब्त के दिन ठीक करता है या नहीं ताकि वे उस पर इलज़ाम लगा सकें। 3 तब उसने सूखे हाथवाले आदमी* से कहा, “उठ और यहाँ बीच में आ।” 4 फिर उसने उनसे पूछा, “परमेश्‍वर के कानून के हिसाब से सब्त के दिन क्या करना सही है, किसी का भला करना या बुरा करना? किसी की जान बचाना या किसी की जान लेना?”+ मगर वे चुप रहे। 5 उनके दिलों की कठोरता+ देखकर यीशु बहुत दुखी हुआ और उसने गुस्से से भरकर उन सबको देखा और उस आदमी से कहा, “अपना हाथ आगे बढ़ा।” जब उसने हाथ आगे बढ़ाया तो उसका हाथ ठीक हो गया। 6 यह देखकर फरीसी बाहर निकल गए और उसी वक्‍त हेरोदेस के गुट के लोगों के साथ मिलकर यीशु को मार डालने की साज़िश करने लगे।+

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