4 या अगर कोई जल्दबाज़ी में और बिना सोचे-समझे कसम खाता है, फिर चाहे कुछ अच्छा करने की शपथ हो या बुरा करने की, और बाद में जब उसे अपनी गलती का एहसास होता है कि उसने जल्दबाज़ी में कसम खायी थी तो वह दोषी होगा।*+
33 तुमने यह भी सुना है कि गुज़रे ज़माने के लोगों से कहा गया था, ‘तुम ऐसी शपथ न खाना जिसे तुम पूरा न करो,+ मगर तुम यहोवा के सामने अपनी मन्नतें पूरी करना।’+