विषय-सूची
15 नवंबर, 2013
© 2013 Watch Tower Bible and Tract Society of Pennsylvania.
अध्ययन संस्करण
30 दिसंबर, 2013–5 जनवरी, 2014
“प्रार्थना करने के लिए चौकस रहो”
6-12 जनवरी, 2014
हम कैसे सब्र दिखाते हुए ‘इंतज़ार कर’ सकते हैं?
13-19 जनवरी, 2014
सात चरवाहे, आठ प्रधान—आज हमारे लिए क्या मायने रखते हैं?
20-26 जनवरी, 2014
यहोवा के चरवाहों की आज्ञा मानिए
27 जनवरी, 2014–2 फरवरी, 2014
अध्ययन लेख
▪ “प्रार्थना करने के लिए चौकस रहो”
जैसे-जैसे शैतान की दुष्ट व्यवस्था का अंत करीब आ रहा है, यह बेहद ज़रूरी है कि हम आध्यात्मिक तौर पर सो न जाएँ। इस लेख में चर्चा की गयी है कि कैसे प्रार्थना करने के लिए चौकस रहने से हमें जागते रहने में मदद मिल सकती है।
▪ हम कैसे सब्र दिखाते हुए ‘इंतज़ार कर’ सकते हैं?
इस लेख से जानिए कि हम भविष्यवक्ता मीका के सब्र से क्या सीख सकते हैं। जाँचिए कि कौन-सी घटनाएँ इस बात की तरफ इशारा करेंगी कि हमारे उस इंतज़ार की घड़ी खत्म हो चुकी है, जब यहोवा इस दुष्ट व्यवस्था के खिलाफ कदम उठाएगा? इस बात पर भी ध्यान दीजिए कि हम यहोवा के सब्र के लिए अपनी एहसानमंदी कैसे दिखा सकते हैं?
▪ सात चरवाहे, आठ प्रधान—आज हमारे लिए क्या मायने रखते हैं?
हिज़किय्याह के दिनों में यरूशलेम पर सन्हेरीब ने जो हमला किया था उस वाकए से हम कई कारगर सबक सीख सकते हैं। इस लेख में दी जानकारी उनके लिए खास मायने रखती है, जिन्हें मंडली की चरवाही करने की ज़िम्मेदारी सौंपी गयी है।
▪ यहोवा के चरवाहों की आज्ञा मानिए
▪ चरवाहो, सबसे महान चरवाहों की मिसाल पर चलिए
इन दो लेखों में से पहले में चर्चा की गयी है कि कैसे यहोवा और यीशु आज धरती पर अपनी भेड़ों की चरवाही कर रहे हैं। इसमें यह भी बताया गया है कि भेड़ों को उनकी इस देखभाल की तरफ कैसा रवैया दिखाना चाहिए। दूसरे लेख में बताया गया है कि झुंड की चरवाहों की तरह देखभाल करते वक्त मंडली के प्राचीनों को कैसा रवैया बनाए रखना चाहिए।
इस अंक में ये लेख भी हैं
8 हम दूसरों की ज़रूरतें पूरी करने में कैसे मदद दे सकते हैं?
मुख्य पृष्ठ: टोक्यो के एक स्टेशन के पास सड़क गवाही करते हुए। हर दिन 28 लाख से भी ज़्यादा लोग टोक्यो आते-जाते हैं। जो लोग घर-घर के प्रचार में नहीं मिलते, उन तक पहुँचने की कोशिश की जा रही है
जापान
जनसंख्या:
12,65,36,000
औसत प्रचारक:
2,16,692
पायनियर:
65,245