ईश्वरशासित सेवकाई स्कूल पुनर्विचार
ईश्वरशासित सेवकाई स्कूल की कार्य-नियुक्तियों में मई १ से अगस्त २१, १९९५ के सप्ताहों में चर्चा किए गए विषय का बंद-पुस्तक पुनर्विचार। नियत समय में जितने सवालों के जवाब आप दे सकते हैं, उनको लिखने के लिए एक अलग काग़ज का प्रयोग कीजिए।
[सूचना: लिखित पुनर्विचार के दौरान, किसी भी सवाल का जवाब देने के लिए, सिर्फ़ बाइबल इस्तेमाल की जा सकती है। सवालों के बाद दिए गए हवाले आपकी व्यक्तिगत खोज के लिए हैं। द वॉचटावर और प्रहरीदुर्ग के हवालों में शायद हर जगह पृष्ठ और अनुच्छेद क्रमांक नहीं दिए गए हों।]
प्रत्येक निम्नलिखित कथन को सही या ग़लत चिन्हित कीजिए:
१. परमेश्वर की उपासना एक व्यक्तिगत मामला है और यह दूसरों के साथ हमारे सम्बन्ध पर किसी भी तरीक़े से निर्भर नहीं करता। (१ यूह. ४:२०) [uw पृ. १३४ अनु. ७]
२. अन्यजाति मसीहियों को दी गयी शासी निकाय की सलाह कि वे मूर्तिपूजा, लहू, और व्यभिचार से परे रहें, मूसा की व्यवस्था पर आधारित थी। (प्रेरि. १५:२८, २९) [uw पृ. १४९ अनु. ८]
३. शुरू में, मूसा की व्यवस्था को मानने के लिए सारी मानवजाति बाध्य थी। (भज. १४७:१९, २०) [uw पृ. १४७ अनु. ५]
४. यशायाह का अध्याय ५३, जो मसीह के जन्म के कुछ ७०० साल पहले लिखा गया था, एक सुस्पष्ट आँखों देखे वृत्तांत की तरह है जो यीशु मसीह का और जिस तरीक़े से उसके साथ व्यवहार किया गया था उसका वर्णन करता है। [si पृ. ११९ अनु. ८]
५. सभोपदेशक ३:१, २ में सुलैमान के शब्द जीवन-मरण के जारी चक्र की ओर मात्र संकेत करते हैं और व्यक्तिगत पूर्वनियति की ओर नहीं। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE९१ १०/१५ पृ. ५ देखिए।]
६. ऐसा कोई सांसारिक स्रोत नहीं है जो पारिवारिक मामलों में बाइबल की ठोस सलाह की बराबरी कर सके। [uw पृ. १४४, अनु. ११]
७. नीतिवचन की पुस्तक यह सलाह देने में कि हम अपना संपूर्ण भरोसा परमेश्वर पर रखें, हमारी समस्याओं की तह तक पहुँचती है। [si पृ. १११ अनु. ३५]
८. ऐसे माता-पिता जो अपने बच्चों को टेलीविज़न पर जो कुछ भी दिखाया जाता है उसे देखने की अनुमति देते हैं, वास्तव में, उन्हें खुला छोड़ रहे हैं। (नीति. २९:१५) [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI८९ ३/१ पृ. ११ अनु. ८ देखिए।]
९. विवाह में जब समस्याएँ उत्पन्न होती हैं, तब एक सच्चा मसीही अपनी ज़िम्मेदारियों को टालने के लिए एक बहाने के रूप में अपने साथी की कमज़ोरियों को अपने मतलब के लिए इस्तेमाल नहीं करेगा। [uw पृ. १४०-१ अनु. ४, ५]
१०. सभोपदेशक की पुस्तक में सुलैमान की घोषणा कि सब कुछ व्यर्थ है, बिना किसी अपवाद के सब चीज़ों पर लागू होती है। [si पृ. ११४ अनु. १५]
निम्नलिखित सवालों के जवाब दीजिए:
११. निर्गमन २०:७ का आधारभूत सिद्धान्त क्या है? [uw पृ. १५२]
१२. उन चार राजाओं में से दो राजा कौन थे जिन्होंने यहूदा में तब राज्य किया जब यशायाह भविष्यवक्ता के तौर पर सेवा कर रहा था? [si पृ. ११८ अनु. ३]
१३. जैसे यशायाह १४:४, १२-१४ में वर्णित है, बाबुल के राजा ने किसकी मनोवृत्ति प्रकट की थी? [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI८५ १२/१ पृ. २० अनु. २ देखिए।]
१४. निर्गमन १९:१०, ११ के अनुसार, यहोवा अपने उपासकों से क्या माँग करता है? [uw पृ. १५२]
१५. आधुनिक-दिन पहरुआ कौन है, और वह क्या घोषित कर रहा है? (यशा. २१:८, १२) [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE८७ ३/१ पृ. १२, अनु. १० देखिए।]
१६. सभोपदेशक १२:१२ पुस्तकों के विषय में ऐसा नकारात्मक दृष्टिकोण क्यों प्रस्तुत करता है? [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI८७ १२/१ पृ. ३० देखिए।]
१७. नीतिवचन १:२-४ के सामंजस्य में, नीतिवचन की पुस्तक क्या विशिष्ट करती है? [si पृ. १०९ अनु. १९]
१८. पौलुस का क्या अर्थ था जब उसने कुरिन्थियों को ‘हृदय खोलने’ की सलाह दी? (२ कुरि. ६:१३) [uw पृ. १३७ अनु. १४]
१९. प्रेम “मृत्यु के तुल्य सामर्थी” कैसे है? (श्रेष्ठ. ८:६, ७) [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI८८ १/१ पृ. ९ देखिए।]
२०. खूबसूरत श्रेष्ठगीत में कौन-से व्यावहारिक सबक़ सिखाए गए हैं? [si पृ. ११७ अनु. १६]
प्रत्येक निम्नलिखित कथन को पूरा करने के लिए आवश्यक शब्द या वाक्यांश दीजिए:
२१. हालाँकि हम मूसा की व्यवस्था के अधीन नहीं हैं, हम उन _________________________ के यथार्थ ज्ञान से, जिन पर यह आधारित है और उन _________________________ नमूनों से जो इसमें हैं, लाभ प्राप्त करते हैं। [uw पृ. १५३ अनु. १४]
२२. निर्गमन २०:४-६ में दिया गया नियम _________________________ की मनाही करता है, और पाठ ख़ुद प्रकट करता है कि यह नियम इस सिद्धान्त पर आधारित है कि यहोवा _________________________ की माँग करता है। [uw पृ. १५२]
२३. व्यवस्थाविवरण ७:१-४ का सिद्धान्त स्पष्ट रूप से दिखाता है कि परमेश्वर के एक सेवक को किसी ऐसे व्यक्ति के साथ _________________________ सम्बन्ध नहीं जोड़ना चाहिए जो _________________________ की सेवा नहीं करता है। [uw पृ. १५२]
२४. श्रेष्ठगीत २:१-३ में, वाक्यालंकारों का प्रयोग किया गया है जो _________________________ की विनम्रता और शालीनता, साथ ही साथ उसके प्रिय _________________________ की मनोरम विशेषताओं और योग्यताओं को प्रकट करते हैं। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI८८ १/१ पृ. ८ देखिए।]
२५. यहोवा के विश्वासी सेवक _________________________ के लिए _________________________ से पूछताछ करने के अभ्यास को ठुकराते हैं चूँकि यह वास्तव में _________________________ के साथ संचार करना है। (यशा. ८:१९) [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI९० ८/१ पृ. ९ अनु. ११]
निम्नलिखित प्रत्येक कथन में सही जवाब चुनिए:
२६. नीतिवचन २६:२०, २१ के अनुसार, यदि हम (जवाब देने में जल्दबाज़; मुँहफट; नम्र) हैं, तो ‘आग में लकड़ी डालने’ और दूसरों को भड़काने के बजाय उनके साथ (हमें व्यक्तिगत समस्याएँ होंगी; हमारा कम संचार होगा; हमारा अच्छा सम्बन्ध होगा)। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE९१ १०/१५ पृ. १३ अनु. १६ देखिए।]
२७. नीतिवचन २७:६ के अनुसार, एक व्यक्ति जो आपसे प्रेम करता है वह (कभी ऐसी कोई बात नहीं कहेगा जिससे आपकी भावनाओं को ठेस पहुँचे; आपको आपके बारे में सच्चाई बताने से डरेगा; जब आपको ज़रूरत हो तब आपको सलाह देगा)। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE९० ९/१५ पृ. २८ देखिए।]
२८. इसका सबूत कि सुलैमान सभोपदेशक का लेखक था इस बात से देखा जा सकता है कि (उसका नाम पूरी पुस्तक में आता है; अन्य बाइबल पुस्तकों के लेखक उसे इसका लेखक कहते हैं; पुस्तक ख़ुद ही सुलैमान का नाम लिए बग़ैर उसे इसका लेखक सिद्ध करती है)। [si पृ. ११२ अनु. ४]
२९. लोग जो सोचते हैं कि आज का ग़ैर-फ़ैसल, कुछ भी चलता है मनोभाव प्रबुद्ध है, वे वास्तव में (अहानिकर; मात्र सहनशील; आध्यात्मिक अन्धकार में) हैं। (यशा. ५:२०) [साप्ताहिक बाइबल पठन; sbr-२ पृ. ४ देखिए।]
३०. श्रेष्ठगीत (राजा के तौर पर सुलैमान की भूमिका; सुलैमान की विपुल धन-दौलत; एक चरवाहे लड़के के प्रति एक देहाती लड़की की वफ़ादारी) को विशिष्ट करता है। [si पृ. ११५ अनु. २]
निम्नलिखित शास्त्रवचनों का नीचे सूचीबद्ध कथनों के साथ सुमेल कीजिए: नीति. २२:३; सभो. ७:२१, २२; यशा. १३:१९, २०; मत्ती ५:२३, २४; कुलु. ३:१८-२०, २३, २४
३१. हालाँकि यहोवा अपने लोगों को दुर्घटनाओं, नागरिक द्वंद्व, या अपराध से आपसे आप रक्षा नहीं करता, तौभी बाइबल-आधारित व्यावहारिक बुद्धि का अभ्यास मूल्यवान् हो सकता है। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wHI९२ ४/१ पृ. १५ अनु. २३।]
३२. उत्प्रेरित भविष्यवाणी की पूर्ति पर कभी संदेह नहीं करने के लिए पर्याप्त सबूत हैं। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE९३ ५/१५ पृ. ६ देखिए।]
३३. एक सच्चा मसीही अपने भाइयों के साथ शान्तिपूर्ण सम्बन्धों को बढ़ावा देने में पहल करता है। [uw पृ. १३५ अनु. १०]
३४. पारिवारिक सम्बन्धों में उन्नति, हर व्यक्ति का दूसरे व्यक्ति द्वारा कुछ किए जाने का इन्तज़ार करने से नहीं बल्कि अपना कार्य अच्छी तरह पूरा करने से होती है। इस प्रकार यह दिखाता है कि वह व्यक्तिगत रूप से घर पर ईश्वरीय भक्ति का पालन करता है। [uw पृ. १४३ अनु. १०]
३५. अवास्तविक रूप से अपने आपसे या अन्य अपरिपूर्ण मनुष्यों के साथ अपने सम्बन्धों से पूर्णता की अपेक्षा मत कीजिए। [साप्ताहिक बाइबल पठन; wE९० ३/१ पृ. ८ देखिए।]