जून 15 क्या आप सचमुच परमेश्वर से प्रेम कर सकते हैं? परमेश्वर से प्रेम करने का क्या अर्थ है? उकाबों के से पंखों के साथ उड़ान भरना आशिष या शाप —आप चुन सकते हैं! आशिष या शाप —आज हमारे लिए उदाहरण पृथ्वी की छोर तक साक्षी “ऐसे मनुष्यों का आदर करो” पाठकों के प्रश्न उसने नम्रतापूर्वक यहोवा की सेवा की