हालात के मुताबिक ढाली जानेवाली पेशकश आज़माइए
अगर हम लोगों में सच्ची दिलचस्पी लेंगे, तो हमारा दिल हमें उभारेगा कि हम उनकी ज़रूरतें समझने की कोशिश करें और उन्हें बताएँ कि कैसे परमेश्वर का राज्य उनकी सारी समस्याओं को जड़ से मिटा देगा। (फिलि. 2:4) बहुत-से प्रचारकों ने पाया है कि घर-मालिक को हमारे साहित्य से फिरदौस की तसवीरें दिखाकर उसके बारे में उसकी राय पूछना, बातचीत शुरू करने का असरदार तरीका रहा है। और हर घर-मालिक के हिसाब से ऐसी पेशकश में थोड़ी बहुत फेरबदल की जा सकती है। जिन चंद साहित्य में ये तसवीरें मौजूद हैं, उनके नाम इस पेज के दाएँ कॉलम में दिए गए हैं। इन तसवीरों के साथ-साथ, आप बातचीत शुरू करने के लिए नीचे दिया गया कोई भी सुझाव इस्तेमाल कर सकते हैं:
◼ “आपका क्या खयाल है, क्या हम कभी ऐसा समय देख पाएँगे जब इंसान इस तसवीर में दिखाए गए हालात में खुशी-खुशी जीएगा?”
◼ “हम सभी चाहते हैं कि हमारे बच्चे एक ऐसी दुनिया का लुत्फ उठाएँ जैसी कि इस तसवीर में दिखायी गयी है। आपकी राय में ऐसी दुनिया लाने के लिए क्या करने की ज़रूरत है?”
◼ “यह तसवीर दिखाती है कि जब परमेश्वर इस धरती पर अपनी इच्छा पूरी करेगा जैसे उसने स्वर्ग में की है, तो धरती कैसी दिखेगी। क्या आप इस तसवीर में देखकर बता सकते हैं कि इसमें और आज की दुनिया में क्या फर्क है?”
◼ “क्या आप ऐसे हालात में जीना चाहते हैं जैसा यहाँ दिखाया गया है? [जवाब के लिए रुकिए।] आपको क्या लगता है कि ऐसे हालात हमारे जीते-जी कभी आएँगे?”
घर-मालिक का जवाब ध्यान से सुनिए और फिर दोस्ताना तरीके से एक-दो सवाल पूछकर उसकी राय जानने की कोशिश कीजिए। अगर कुछ लोग कहते हैं कि वे तसवीर में दिखाए हालात में नहीं जीना चाहते या वे नहीं मानते कि ऐसी दुनिया कभी आएगी, तो झट-से इस नतीजे पर मत पहुँचिए कि उन्हें हमारे संदेश में दिलचस्पी नहीं। व्यवहार-कुशलता से पूछिए कि वे ऐसा क्यों महसूस करते हैं। शायद उनकी बातों से आपको पता चले कि उन्हें एक ऐसी चिंता खाए जा रही है, जिसके बारे में उन्हें नहीं लगता है कि वह कभी सुलझनेवाली।—यहे. 9:4.
घर-मालिक को किस बात की चिंता है, यह जानने के बाद अपनी पेशकश उसके मुताबिक ढालिए। राज्य के संदेश का ऐसा पहलू बताइए, जो सीधे उसकी ज़रूरत से ताल्लुक रखता हो। विषय से जुड़ी एक या दो आयतें दिखाइए। (दाएँ कॉलम में दिए सुझाव देखिए।) और खुद उसे देखने दीजिए कि परमेश्वर का वचन क्या कहता है। अगर वह दिलचस्पी दिखाता है, तो साहित्य पेश कीजिए और उससे दोबारा मिलने का इंतज़ाम कीजिए। पहली मुलाकात में घर-मालिक ने जो दिलचस्पी दिखायी है, उसे बढ़ाते रहिए।
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फिरदौस की तसवीरों की मिसालें
सृष्टि (अँग्रेज़ी) किताब: पेज 237, 243, 251
शिक्षक (अँग्रेज़ी) किताब: पेज 251-4
सच्ची शांति (अँग्रेज़ी) किताब: पेज 98
परमेश्वर की उपासना करें किताब: पेज 92-3
[पेज 6 पर बक्स]
जिन विषयों को लेकर लोग परेशान हैं
अपराध, हिंसा
खाने की कमी, कुपोषण
गरीबी, अत्याचार
घर और आर्थिक समस्याएँ
जानवरों के साथ बुरा सलूक
धरती की तबाही
नाकाम सरकारें
निराशा
नैतिकता में गिरावट
बीमारी, अपंगता
भेदभाव और नफरत, ऊँच-नीच
भ्रष्टाचार, अन्याय
मौत, शोक मनाना
युद्ध, आतंकवाद